पेज

बुधवार, 6 नवंबर 2013

ए --------कभी तो कुछ कहा भी करो

जब भी मिठास कम हुई चाय में
जान जाता हूँ
फिर कुछ टूटा है तुम्हारे अन्तस में
वरना
बिना अपने लबों को छुआये
प्याला दिया है क्या तुमने


जब भी नमक ज्यादा मिला दाल में
जान जाता हूँ
फिर अंधेरों ने शोर किया है तुम्हारे बियाबान में
वरना
तुम्हारी आँखों का नमक ही काफ़ी रहता है मेरे स्वाद के लिये


जब भी तुलसी पर दीया जलता नहीं मिला मुझे
जान जाता हूँ
तुम्हारी कुँवारी वेदना की मुस्कुराती तडप को
वरना
बिना दीया बाती किये साँझ की बत्ती नहीं जलाई तुमने


और ये होता है
तुम्हारी दिनचर्या का 
आखिरी पडाव


जब भी बिस्तर पर सिलवट मिली मुझे
जान जाता हूँ
कितनी कोशिश की होगी तुमने प्रैस से छुपाने की
वरना
यूँ रूह की सिलवटों की खामोशी ना उतरती तुममें


जानाँ -----अरसा हुआ सीख गया हूँ मैं भी अब
तुम्हारे अबोले शब्दों की गूढ भाषा
ए --------कभी तो कुछ कहा भी करो
एक मुद्दत हुयी
आवाज़ सुनने को तरस गया हूँ …………


12 टिप्‍पणियां:

  1. बहुत लाजवाब ... मानने मनाने के सिलसिले में आवाज़ भी जरूरी है ... आँखों की भाषा और बिम्ब के संबोधन से परे मिश्री सी आवाज़ ...

    जवाब देंहटाएं
  2. बहुत सुंदर.आँखों की भाषा और बिम्ब का खूबसूरती से प्रयोग.

    जवाब देंहटाएं
  3. बहुत ही खुबसूरत ख्यालो से रची रचना......

    जवाब देंहटाएं
  4. बहुत सुन्दर प्रस्तुति...!
    --
    आपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल बृहस्पतिवार (07-11-2013) को "दिमाग का फ्यूज़" (चर्चा मंच 1422) पर भी होगी!
    --
    सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
    --
    हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
    सादर...!

    जवाब देंहटाएं
  5. बहुत सुन्दर प्रस्तुति...!
    --
    आपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल बृहस्पतिवार (07-11-2013) को  "दिमाग का फ्यूज़"  (चर्चा मंच 1422)      पर भी होगी!
    --
    सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
    --
    हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
    सादर...!
    डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'

    जवाब देंहटाएं
  6. बहुत ही खूबसूरती से शब्‍द-शब्‍द उकेरा है अंतस का जो नि:शब्‍द कर गया ....

    जवाब देंहटाएं
  7. रूह की सिलवटों का जवाब नही / वाह !
    my letest post ------
    चाँद

    जवाब देंहटाएं

अपने विचारो से हमे अवगत कराये……………… …आपके विचार हमारे प्रेरणा स्त्रोत हैं ………………………शुक्रिया